राज्य में अब निजी विश्वविद्यालयों की मनमानी नहीं चलेगी। सरकार उनके लिए एक समान फीस की व्यवस्था लागू करने जा रही है।आने वाले शिक्षा सत्र से प्रवेश एवं शुल्क निर्धारण समिति से तय फीस को
लागू किया जाएगा। इसके लिए मौजूदा मानकों में बदलाव किया जाएगा। बता दें कि
राज्य के सरकारी और प्राईवेट विश्वविद्यालयों में फीस को लेकर काफी अंतर
है। राज्य के उच्च शिक्षण संस्थानों में फीस का ढांचा एक समान नहीं है। सरकारी
विवि-कालेज में फीस का अलग ढांचा है और प्राइवेट में बिलकुल अलग है।
प्राईवेट काॅलेजों में फीस के नियंत्रण की कोई व्यवस्था नहीं है। अगले सत्र
से प्रवेश एवं शुल्क निर्धारण समिति के द्वारा प्राईवेट विश्वविद्यालय के
लिए फीस का ढांचा तय कर दिया जाएगा।
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